असत्य पर सत्य तो जीत ही जाएगा

Image
असत्य पर सत्य तो जीत ही जाएगा मगर सत्य में असत्य को कब मिटाओगे  तन का रावण तो जल ही जाएगा मगर मन के रावण को कब तुम जलाओगे। तिनका रक्षा मां की करे कब तलक खुद को राक्षसों से कब तक बचायेंगी  या तो भेजो तुम अपने हनुमान को या बताओ धनुष धारी तुम कब आओगे   

तुझ पे जां लुटाता रहूं।

तू रोये चीखे और चिल्लाये
मैं उसका आनंद उठता रहूं
इतना  भी   हरजाई   नहीं
कि तुझ पे जां लुटाता रहूं।

तू  नाचे  गाये  और  बजाये
मैं  उस पर तान लगाता रहूं
कभी बजे जो पायल पाओं में
मैं  उस  पर  जां लुटाता रहूं।

है  तू  तितली  मन  के  मेरे
सुबह  -  शाम  रहती  घेरे
है  नहीं  दिन  बचपन  के
डोरी  बांध  पूंछ   में   तेरे
दिन  भर  मैं  उड़ाता रहूं।

Comments

Popular posts from this blog

किसी का टाइम पास मत बना देना।

तेरे बिन जिंदगी बसर कैसे हो।

उनका भी इक ख्वाब हैं।